तिरुवनंतपुरम: मलयालम फिल्म इंडस्ट्री में एक ऐतिहासिक कदम उठाते हुए, एसोसिएशन ऑफ मलयालम मूवी आर्टिस्ट्स (एएमएमए) ने पहली बार महिलाओं को अपने अध्यक्ष और महासचिव के रूप में चुना है। शुक्रवार को हुए चुनाव में अभिनेत्री श्वेता मेनन को अध्यक्ष और कूकू परमेश्वरन को महासचिव चुना गया। यह कदम हेमा कमेटी की रिपोर्ट के बाद आए तूफानी विवादों और यौन उत्पीड़न के आरोपों के बाद संगठन के पुनर्गठन का हिस्सा है।
हेमा कमेटी की रिपोर्ट, जो पिछले साल जारी हुई थी, ने मलयालम फिल्म उद्योग में यौन उत्पीड़न और लैंगिक असमानता के गंभीर मुद्दों को उजागर किया था। इसके बाद, मोहनलाल के नेतृत्व वाली 17 सदस्यीय कार्यकारी समिति ने सामूहिक इस्तीफा दे दिया था। इस पृष्ठभूमि में, श्वेता मेनन ने दिग्गज अभिनेता देवन को हराकर अध्यक्ष पद हासिल किया, जबकि कूकू ने रवींद्रन को पराजित किया।
नवनिर्वाचित अध्यक्ष श्वेता मेनन ने कहा, “हम संगठन में बदलाव लाएंगे और सभी सदस्यों को एकजुट करेंगे। हमारे लिए कोई पुरुष-महिला भेद नहीं, सभी कलाकार हैं।” कूकू परमेश्वरन ने भी सभी 508 सदस्यों को विश्वास में लेकर निर्णय लेने का वादा किया।
इसके अतिरिक्त, लक्ष्मी प्रिया और जयंत चेरथला को उपाध्यक्ष, जबकि अंसिबा को संयुक्त सचिव चुना गया। उन्नी शिवपाल को कोषाध्यक्ष बनाया गया। यह नई समिति अगले तीन वर्षों तक कार्य करेगी।
हेमा रिपोर्ट ने उद्योग में शक्तिशाली पुरुष समूहों की मौजूदगी को उजागर किया था, जिसके बाद कई अभिनेताओं के खिलाफ यौन उत्पीड़न के आरोप सामने आए। इस संदर्भ में, श्वेता और कूकू का नेतृत्व न केवल ऐतिहासिक है, बल्कि उद्योग में समावेशिता और सुधार की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम भी है।