रोशनी वालिया: एक उभरता सितारा
रोशनी वालिया ने बाल कलाकार के रूप में अपने करियर की शुरुआत की थी। ‘मैं लक्ष्मी तेरे आंगन की’, ‘बालिका वधू’ जैसे टीवी धारावाहिकों में उनकी मासूमियत ने दर्शकों का दिल जीता। अब वह बड़े पर्दे पर अपनी छाप छोड़ने की तैयारी में हैं। उनकी मां स्वीटी वालिया, जो उनकी सबसे बड़ी समर्थक रही हैं, ने हमेशा उन्हें स्वतंत्रता के साथ जिम्मेदारी का पाठ पढ़ाया। रोशनी ने कई इंटरव्यू और सोशल मीडिया पोस्ट में अपनी मां की इस सलाह को साझा किया, जिसमें वह खुलकर कहती हैं कि उनकी मां की प्रगतिशील सोच ने उन्हें जिंदगी और इंडस्ट्री में संतुलन बनाए रखने में मदद की।
मां की सलाह: चिंता या रणनीति?
स्वीटी वालिया की सलाह- “कंडोम साथ रखो, मजे करो” – ने कई लोगों को चौंकाया। पारंपरिक भारतीय समाज में, जहां सेक्स जैसे विषयों पर खुलकर बात करना अभी भी असहज माना जाता है, यह सलाह क्रांतिकारी लगती है। लेकिन सवाल यह है कि क्या यह सलाह एक मां की अपने बच्चे की सुरक्षा को लेकर वास्तविक चिंता है? या फिर यह रोशनी की ओर से चर्चा में बने रहने का एक सुनियोजित कदम है? कई विशेषज्ञों का मानना है कि आधुनिक माता-पिता जानते हैं कि युवा पीढ़ी को सेक्स जैसे विषयों से पूरी तरह रोकना संभव नहीं है। ऐसे में स्वीटी की सलाह एक व्यावहारिक दृष्टिकोण दर्शाती है, जो अपनी बेटी को सुरक्षित और जिम्मेदार बनने की सीख देती है। यह सलाह माता-पिता और बच्चों के बीच खुले संवाद की जरूरत को भी रेखांकित करती है।हालांकि, कुछ लोग इसे महज पब्लिसिटी स्टंट मानते हैं। रोशनी का करियर अभी उभर रहा है, और इस तरह की सनसनीखेज बयानबाजी उनके लिए मीडिया का ध्यान खींचने का आसान तरीका हो सकता है। लेकिन रोशनी के अब तक के रिकॉर्ड को देखें तो उनके नाम कोई बड़ा विवाद नहीं रहा। वह हमेशा अपनी मेहनत और अभिनय के लिए जानी गई हैं। फिर भी, सोशल मीडिया पर कुछ यूजर्स ने इस सलाह को ‘अनावश्यक रूप से बोल्ड’ करार दिया, जबकि अन्य ने इसे एक मां की प्रगतिशील सोच के रूप में सराहा।
आधुनिक मां की चिंता
स्वीटी वालिया की सलाह उन माता-पिता की सोच को दर्शाती है, जो अपने बच्चों को आजादी देना चाहते हैं, लेकिन साथ ही उनकी सुरक्षा भी सुनिश्चित करना चाहते हैं। आज के दौर में, जहां यौन शिक्षा और जागरूकता पहले से कहीं ज्यादा जरूरी है, यह सलाह एक सकारात्मक संदेश देती है। यह माता-पिता को प्रेरित करती है कि वे अपने बच्चों से खुलकर बात करें, ताकि वे गलत फैसलों से बच सकें। रोशनी ने भी कहा है कि उनकी मां का यह दृष्टिकोण उन्हें आत्मविश्वास देता है और जिंदगी को जिम्मेदारी के साथ जीने की प्रेरणा देता है।
रोशनी वालिया और उनकी मां की यह कहानी न केवल मनोरंजन जगत की सुर्खियां बनी, बल्कि समाज में एक नई बहस को भी जन्म दे रही है। यह सलाह एक मां की चिंता को दर्शाती है, जो अपनी बेटी को आजादी के साथ सुरक्षा का पाठ पढ़ाना चाहती है। लेकिन क्या यह सिर्फ एक मां की सलाह है या रोशनी की ओर से सुर्खियों में बने रहने की रणनीति? यह सवाल खुला है। फिर भी, यह कहानी हमें सोचने पर मजबूर करती है कि आधुनिक parenting में खुलेपन और जिम्मेदारी का संतुलन कितना जरूरी है।